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बीकानेर। दीपावली महापर्व के लिए घर-दुकानों में साफ-सफाई का दौर शुरू हो गया है। घर की महिलाएं  अब दोपहर का वक्त घर की दरों-दीवार को दे रही हैं, वहीं युवतियों ने घर की सजावट के लिए तैयारी शुरू  कर दी है। पुरूषों की देखरेख में रंगाई-पुताई का कार्य किया जा रहा है। दीपावली की साफ-सफाई ने परिवार  के सदस्यों को भी एक कर दिया है। अलग-अलग रहने वाली देवरानी-जिठानी भी इन दिनों सुबह भोजन  आदि का काम जल्दी निपटाकर एक साथ सफाई कार्य में जुटी हुई हैं।
इसी तरह दुकानों पर दिन में ग्राहकी और रात में साफ-सफाई का कार्य किया जा रहा है। मालिक से लेकर  नौकर तक सभी दुकान के कोने-कोने को चमकाने   में लगे रहे। इन दुकानों पर रात्रि के भोजन का प्रबंध भी  प्रतिष्ठान मालिक द्वारा किया गया। घर-दुकानों को चमकाने के लिए रंग-पेंट की दुकानों पर दिनभर ग्राहकी  का सिलसिला बना हुआ है।
महानगरीय सभ्यता की तरह शहरों में कमरे की दीवारें अलग-अलग रंग की करने का क्रेज चल पड़ा है।  इसके लिए बाजार में मल्टी कलर प्लास्टिक पेंट की मांग है। लोग कमरे पर पडऩे वाली सूर्य की रौशनी के  अनुसार कमरे की दीवारों का रंग चुन रहे हैं। बाजार में ग्राहकों को आकर्षित करने के लिए दीवारों पर  डिजायन के लिए पेंट का नया रूप रॉयल प्ले उतारा गया है, लेकिन लोगों की मांग फिलहाल प्लास्टिक पेंट  पर अधिक है।
वहीं, कली (चूने) की पुताई की बजाय अधिकतर घरों में डिस्टेम्पर पेंट ही करवाया जा रहा है। व्यापारियों के  अनुसार कली की पुताई अब सिर्फ 10 फीसदी रह गई है। 
भाव बढ़े, मजदूरी भी
रंग-पेंट में भी ब्राण्डेड कम्पनियां आ गई हैं। इनमें प्रतिस्पर्द्धा के चलते भावों में अधिक उछाल तो नहीं है,  लेकिन पिछले वर्ष के मुकाबले 10 से 20 फीसदी तक भाव तेज हुए हैं। कली छोड़कर डिस्टेम्पर अपनाने वाले  अधिक होने के कारण बाजार में डिस्टेम्पर की प्रति बाल्टी पर 100 रूपए तक की तेजी है। कली की मांग  कम है, लेकिन इसके भाव भी बीते वर्ष की अपेक्षा 20 प्रतिशत बढ़े हैं। इसी तरह रंगाई-पुताई के लिए मजदूरी  महंगी हो गई है।
हालांकि रंगाई-पुताई का कार्य पूरे घर या दुकान का ठेके पर दिया जाता है, लेकिन इस तरह से भी प्रति मजदूर  300 रूपए प्रतिदिन पड़ रहा है। बीते वर्षो में प्रति मजदूर प्रतिदिन 150 से 200 रूपए तक ही पड़ता था।
ग्राहकी अच्छी : व्यापारियों के अनुसार रंग-पेंट की बिक्री बीते वर्षो की अपेक्षा अच्छी है। व्यापारी बताते है  कि इस बार बारिश का मौसम सितम्बर तक रहने के कारण अभी तक का बिजनेस बीते वर्ष की तुलना में 10  फीसदी कम है। इस माह ग्राहकी अच्छी हो रही है।
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HINDU ASTHA

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